विकासनगर : जन संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष और जीएमवीएन के पूर्व उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने पत्रकारों से बातचीत में सरकार पर गंभीर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि क्या इससे बड़ा दुर्भाग्य हो सकता है कि एक विधायक, जिसके खिलाफ यौन शोषण, ब्लैकमेलिंग, जालसाजी और जबरन जमीन कब्जाने जैसे करीब 30 मुकदमे दर्ज हैं, उसे सरकार वाई प्लस सुरक्षा और एस्कॉर्ट की सुविधा दे रही है?
उमेश कुमार नाम के इस विधायक को हरिद्वार पुलिस के दो गनर, देहरादून और हरिद्वार में उनके आवास पर सुरक्षा गार्ड तक मुहैया कराए गए हैं। नेगी ने तंज कसते हुए कहा कि ऐसा लगता है मानो सरकार ने प्रदेश को लूटने का खुला लाइसेंस इस विधायक को थमा दिया हो। क्या सरकार पर कोई गुप्त स्टिंग ऑपरेशन चल रहा है, जिसके दबाव में ये सब हो रहा है?
नेगी ने आगे कहा कि यह शर्मनाक है कि सरकार जालसाजी और ब्लैकमेलिंग में लिप्त लोगों को संरक्षण दे रही है, जबकि समाजसेवियों और राज्य हित के लिए काम करने वालों की कोई सुनवाई नहीं। उन्होंने आरोप लगाया कि उमेश कुमार ने ब्लैकमेलिंग और धोखाधड़ी से 500-1000 करोड़ रुपये का साम्राज्य खड़ा कर लिया है।
ऐसा प्रतीत होता है कि सरकार की मेहरबानी से प्रदेश डकैतों का अड्डा बनता जा रहा है। हालांकि, इस मामले में हाई कोर्ट ने संज्ञान लिया है, जो एक राहत की बात है। नेगी ने चेतावनी दी कि जन संघर्ष मोर्चा इस जालसाज विधायक और सरकार के खिलाफ जोरदार आंदोलन चलाएगा।
पत्रकार वार्ता में दिलबाग सिंह, प्रवीण शर्मा पिन्नी और संतोष शर्मा भी मौजूद रहे। नेगी ने सवाल उठाया कि क्या सरकार का कोई छिपा एजेंडा है, जिसके चलते वह इस विधायक के इशारों पर नाच रही है? उन्होंने कहा कि करीब 20 मुकदमे सिर्फ ब्लैकमेलिंग और जालसाजी के हैं, फिर भी सरकार का रवैया समझ से परे है। यह हालात प्रदेश की जनता के लिए बेहद चिंताजनक हैं और सरकार की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े करते हैं।