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संयुक्‍त राष्‍ट्र मुख्‍यालय न्‍यूयार्क में मनाया गया प्रमुख स्‍वामीजी महाराज जन्‍म शताब्‍दी समारोह

नई दिल्‍ली : संयुक्‍त राष्‍ट्र मुख्‍यालय न्‍यूयार्क, अमेरिका में बीएपीएस स्‍वामीनारायण संस्‍था के प्रमुख स्‍वामीजी महाराज की जन्‍मशताब्‍दी समारोह और देश में चल रहे आजादी का अमृत महोत्‍सव का संयुक्‍त रूप से आयोजन किया गया.

इस मौके पर स्‍वामीजी के जीवन के संदेश वहां मौजूद लोगों तक पहुंचाए गए. ‘द वर्ल्‍ड इज वन फेमिली’ के संदेश को लेकर आयोजित इस समारोह में संयुक्‍त राष्‍ट्र में भारत की स्‍थायी प्रतिनिधि रुचिरा कांबोज, विभिन्‍न देशों के राजदूत, प्रतिनिधि और बीएपीएस के स्‍वयं सेवक मौजूद मौजूद रहे.

अटलांटा में नॉर्थसाइड हॉस्पिटल कार्डियोवास्कुलर इंस्टीट्यूट में बीएपीएस स्वयंसेवक और हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. कश्यप पटेल ने स्वागत भाषण के साथ कार्यक्रम का उद्घाटन किया. जिसमें उन्‍होंने प्रमुख स्वामी महाराज, सामाजिक और आध्यात्मिक उत्थान के लिए मानवीय प्रयासों और उनके जीवन कार्य का परिचय दिया .इस मौके पर 29 अगस्त, 2000 को संयुक्त राष्ट्र शांति सहस्राब्दी शिखर सम्मेलन में प्रमुख स्वामी महाराज के भाषण का एक वीडियो दिखाया गया.

जिसमें उन्होंने दुनियाभर के आध्यात्मिक प्रमुखों से अपील की कि वे समृद्ध विविधता को बनाए रखने के लिए एक-दूसरे के साथ सार्थक संवाद करें.संयुक्त राष्ट्र के अवर महासचिव मिगुएल एंजेल मोराटिनोस ने अपने संबोधन में प्रमुख स्वामीजी महाराज को विश्‍व की कालातीत भावना का संदेश देने वाला बताते हुए कहा अब एक साथ आने का समय आ गया है.

संयुक्‍त राष्‍ट्र में भारत की स्‍थायी प्रतिनिधि रु‍चिरा कंबोज ने अपने संबोधन में प्रमुख स्वामीजी महाराज के शताब्दी जन्मशताब्‍दी पर इस कार्यक्रम की मेजबानी के लिए सम्मान व्यक्त किया. उन्‍होंने कहा कि सच्चे अर्थों में स्वामीजी का जीवन पूरी मानवता के लिए एक संदेश है, यह एकता का संदेश है, अच्छाई का संदेश है, शांति, सद्भाव और भाईचारे का संदेश है.

विश्व धार्मिक प्रमुख की परिषद के महासचिव बावा जैन ने कहा कि प्रमुख स्वामी महाराज हमारे समय के परिवर्तनकारी प्रमुख संतों में से एक थे. उन्‍होंने अनगिनत जीवन और सभी पृष्ठभूमि के लोगों को सकारात्मक बदलाव लाने के लिए प्रेरित किया.

आज, भगवान स्वामीनारायण के छठे आध्यात्मिक उत्तराधिकारी, महंतजी स्वामी महाराज इस संदेश को जारी रखे हुए हैं और सभी को सद्भाव के लिए प्रेरित कर रहे हैं.

कार्यक्रम का समापन शांति पाठ, विश्‍व शांति के लिए एक प्रार्थना और संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन के काउंसलर शीष शर्मा द्वारा धन्यवाद प्रस्ताव के साथ हुआ.

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