RBI का ऐतिहासिक फैसला: फर्जी लोन ऐप्स पर पूर्ण प्रतिबंध, उपभोक्ता हित में बड़ा कदम

अब बाजार में नए-नए ऐप आ गए हैं, जो तुरंत पैसे देने का दावा करते हैं। दरअसल, आपको बता दें कि रिजर्व बैंक ने मॉनेटरी पॉलिसी में डिजिटल ऐप लोन को लेकर बड़ा ऐलान किया है। डिजिटल (digital landing app)लोन की निगरानी के लिए इस नियामक संस्था को अपनी रिपोर्ट आरबीआई को देनी होगी।

UPI-बेस्ड टैक्स पेमेंट की सीमा

इसके अलावा, UPI-बेस्ड टैक्स पेमेंट के लिए लेनदेन की सीमा 1 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये प्रति लेनदेन कर दी गई है। आरबीआई के गवर्नर ने कहा कि होमलोन कंपनियां नियमों की अनदेखी कर रही हैं और ऐसी कंडिशन में इनपर लगाम(RBI Latest News Update) कसने की जरूरत हैं।

बैंकों और एनबीएफसी की सुविधांए करें और बेहतर

आरबीआई गवर्नर ने मॉनेटरी पॉलिसी में देश के फाइनेंशियल सेक्टर को मजबूत बताया। उनका कहना है कि देश का वित्तीय बाजार स्थिर है। हालांकि, फिर भी उन्होंने बैंकों और एनबीएफसी को और बेहतर सुधार के लिए नए उपायों को बनाने (RBI MPC Meeting 2024 Today)की सलाह दी।

ताकि फर्जी लोन ऐप्स का सफाया हो जाएं।

डिपॉजिट को सिक्योर करना 

बता दें कि भारतीय रिजर्व बैंक के गर्वनर ने बैंकों से अपनी बचत योजनाओं में डिपॉजिट को और बढ़ाने के लिए नई रणनीतियों को अपनाने को कहा है। अब निवेशकों के पास इन्वेस्टमेंट के कई ऑप्शन है और अन्य विकल्प होने से वे बैंकों में (fake digital loan app)पैसा जमा नहीं कर रहे हैं।

इस कारण से बैंकों के लिए डिपॉजिट को सिक्योर करना चुनौतीपूर्ण बन गया है। ऐसी स्थिति में बैंकों के सामने लिक्विडिटी से जुड़ी परेशानियां पैदा हो सकती हैं

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