लेकिन आलू को अगर सही तरीके से खाया जाए तो ये वजन बढ़ने की बजाय वेट लॉस में मदद करेगा। कई सारी रिसर्च में पता चला है कि आलू के कुकिंग मेथड पर भी वेट लॉस या वेट गेन डिपेंड करता है। रिसर्चर की टेस्ट की हुई टेक्नीक से आलू में मौजूद स्टार्च बहुत धीमे शरीर में डाइजेस्ट होता है।
जिसकी वजह से ब्लड शुगर लेवल पर असर नहीं पड़ता और ना ही वजन बढ़ने का डर रहता है। तो अगर आप आलू के दीवाने हैं तो इन तरीकों से आलू खा सकते हैं। जिससे मोटापा बढ़ने का डर नहीं होगा।
आलू को उबालने से कम होगा ग्लाइसेमिक इंडेक्स
अगर आप आलू को खाना चाहते हैं तो सबसे पहले इसे उबाल लें। फिर आलू को ठंडा करें और फ्रीज कर दें। जिससे आलू का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम हो जाता है और वो ज्यादा न्यूट्रिशियस हो जाता है। उबले आलू को पानी और व्हाइट विनेगर के घोल में डालकर ब्लांच करें। इससे ग्लाइसेमिक इंडेक्स और कम हो जाता है।
ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम करने के लिए ऐसे पकाएं आलू
आलू को टुकड़ों में काटकर गर्म पानी में आधे घंटे के लिए पकाएं और ठंडा करें। इससे ना केवल ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम हो जाता है बल्कि ये आसानी से डाइजेस्ट भी होता है।
अगर आप आलू खाना चाहते हैं तो इसे माइक्रोवेव में पकाकर, उबालकर या भाप में पकाकर खा सकते हैं। लेकिन ध्यान रहे कि पकान के प्रोसेस में चीनी, नमक और तेल का इस्तेमाल बहुत ही कम मात्रा में हो।
अगर आलू को छिलका सहित खाने में इस्तेमाल किया जाए तो इससे फाइबर भी पर्याप्त मात्रा में मिल जाता है।
अगर एक मैश्ड आलू को ब्रोकली के साथ मिलाकर खाया जाए तो ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है।
वहीं अगर आलू को किसी मीट या मछली के साथ मिलाकर खाया तो इससे इंसुलिन पर असर पड़ता है।
इसके साथ ही आलू खाने की मात्रा का भी ध्यान रखना जरूरी है। एक दिन में एक से ज्यादा आलू या फिर 2 से 5 पाउंड से ज्यााद आलू नहीं खाना चाहिए।